



सागर
सांसद डॉ. लता गुड्डू वानखेड़े ने बुधवार को नई दिल्ली में प्रधानमंत्रभी नरेन्द्र मोदी से मुलाकात कर देश की महिलाओं को कौशल विकास के माध्यम से आत्मनिर्भर बनाने के संबंध में मांगपत्र सौंपकर देश की महिलाओं को सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनाने के लिए स्किल डेवलपमेंट सेंटर और कपड़ा मैनुफैक्चरिंग यूनिटों की स्थापना करने का निवेदन किया ।
इस संबंध में डॉ. लता गुड्डू वानखेड़े ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात के दौरान महिलाओं को कौशल विकास के माध्यम से आत्मनिर्भर बनाने विशेष कर ग्रामीण महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने और उन्हें रोजगार के अवसर पर प्रदान करने के लिए, स्किल डेवलपमेंट सेंटर और कपड़ा मैन्युफैक्चरिंग यूनिट स्थापित करने का निवेदन करते हुए मांगपत्र सौंपा और माननीय प्रधानमंत्री को पूरे मांगपत्र के संबंध में बिंदुवार जानकारी देते हुए बताया कि इस प्रोजेक्ट के माध्यम से महिलाओं को विशेषकर ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं के लिए एक मजबूत आजीविका के साधनों का निर्माण करेगा।
उन्होंने प्रधानमंत्री को बताया कि इस प्रोजेक्ट से भारत के कपड़ा उद्योग को ग्रामीण और शहरी बाजारों में विस्तार करने का अवसर मिलेगा और महिलाओं को स्वावलंबी बनाकर उनकी सामाजिक और आर्थिक स्थिति में सुधार लाना भी आसान होगा। कपड़ा मंत्रालय के सहयोग से एवं देश में चल रही विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत स्किल डेवलपमेंट सेटरों की स्थापना करने का सुझाव दिया ताकि महिलाओं को कपड़ा मैन्युफैक्चरिंग और फैशन डिजाइनिंग की उन्नत कौशल की ट्रेनिंग दी जा सके इसके लिए उन्होंने स्किल डेवलपमेंट सेंटर से प्रशिक्षित महिलाओं को रोजगार प्रदान करने के लिए कपड़ा मैन्युफैक्चरिंग यूनिट की स्थापना करने का भी सुझाव दिया जो विभिन्न प्रकार के परिधान बनाने पर केंद्रित होगी इस प्रोजेक्ट का लक्ष्य इस प्रकार की स्किल डेवलपमेंट केंद्र और कपड़ा मैन्युफैक्चरिंग यूनिट को देश के हर राज्य और हर तहसील में स्थापित करने का उन्होंने निवेदन किया ताकि पूरे देश की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाया जा सके और उन्हें रोजगार के नए अवसर पैदा किये जा सके।
उन्होंने यह भी निवेदन किया कि इस प्रोजेक्ट की शुरुआत मध्यप्रदेश से की जा सकती है, जो देश का हृदय स्थल है फिर इसे चरणवद्द तरीके से पूरे देश में लागू किया जा सकता है । इस प्रोजेक्ट से महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने का अवसर मिलेगा और कपड़ा मैन्युफैक्चरिंग के माध्यम से स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और महिलाओं को आधुनिक फैशन इंडस्ट्रीज की जरूरत के अनुरूप प्रशिक्षण देकर उन्हें ग्लोबल मार्केट से जुड़ने का मौका भी मिलेगा।