आंखों में संक्रमण रोग से बचाव की सलाह

सागर,
जिले में आई फ्लू कंजक्टिवाइटिस का प्रकोप हर दिन बढ़ता जा रहा है। जिला अस्पताल के नेत्र रोग विभाग में पहुंचने वाला हर दूसरा मरीज इससे पीड़ित है। इंदिरा नेत्र चिकित्सालय की नेत्र रोग चिकित्सक व सर्जन डा. अदिति दुबे ने आई फ्लू रोग से बचाव एवं लक्षण की जानकारी दी है। डा. अदिति के अनुसार

प्रमुख लक्षण में – आँखों का लाल होना, पानी आना व कीचड़ आना, आँखों में खुजली व जलन का होना आँखों में सूजन होना। आई फ्लू एक प्रकार का वायरल संक्रमण है जो सक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से फैलता है। आंखों को बार-बार गंदे हाथों से स्पर्श करने से आँखों की पलकों पर पसीना आने से संक्रमण होने की संभावना बढ़ जाती है। यह हर उम्र के व्यक्ति को हो सकता है।

बचने के उपाय – पीडित व्यक्ति चश्मा पहन कर रखें तथा अपनी इस्तेमाल की वस्तुओं को दूसरों से अलग रखें व सेनिटाइज करते रहे हैं। आँखो को बार-बार न छुये, बारिश में भीगने से बचें।
आई फ्लू होने पर क्या करना चाहिये – आंखों को ठंडे पानी से धोते रहें, आंखों को साफ करने के लिये साफ सूती रुमाल का इस्तेमाल करें। आई फ्लू से प्रभावित बच्चों को लगभग 5 दिन का स्कूल अवकाश दिलायें। डॉक्टर की सलाह के बाद ही आई ड्रापस का प्रयोग करें। हाथों को साबुन से धोते रहें व सेनिटाइजर का इस्तेमाल करें।

उन्होंने बताया कि यह गंभीर बीमारी नहीं है। इसलिये इससे डरने की बात नहीं है। परंतु कोई गंभीर लक्षण जैसे कि आंखों में ज्यादा सूजन व आंखों का न खुलना या बहुत ज्यादा दर्द और बुखार का आना अन्य कोई लक्षण होते तो तुरंत डॉक्टर की सलाह जरुरी है। यह आई फ्लू करीब 7-10 दिन में ठीक होता है, इसलिए पूर्ण उपचार करीब दो हफ्तों तक लेना जरूरी है।

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